गणेश नमस्कार से होता है चमत्कार
दी यंगिस्तान,नई दिल्ली।
श्री गणपति नमस्कार मंत्र में अद्भुत चमत्कारिक शक्तियां होती हैं। गणेश जी को समर्पित यह मंत्र जीवन के हर क्षेत्र में सफलता, समृद्धि, और शांति का मार्ग प्रशस्त करता है। गणेश नमस्कार से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और आशीर्वाद की वर्षा होती है। आइए जानते हैं इस मंत्र के महत्व और इसके नियमित जप से होने वाले चमत्कारिक लाभ।
मंत्र
विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लम्बोदराय सकलाय जगद्धिताय।
नागाननाय श्रुतियज्ञविभूषिताय गौरीसुताय गणनाथ नमो नमस्ते ॥ 1 ॥
विघ्नेश्वर, वर देनेवाले, देवताओंको प्रिय, लम्बोदर, कलाओंसे परिपूर्ण, जगत्का हित करनेवाले, गजके समान मुखवाले और वेद तथा यज्ञसे विभूषित पार्वतीपुत्रको नमस्कार है; हे गणनाथ! आपको नमस्कार है॥ 1॥
गजाननं भूतगणादिसेवितं कपित्थजम्बूफलचारुभक्षणम्।
उमासुतं शोकविनाशकारकं नमामि विघ्नेश्वरपादपङ्कजम्॥ 2॥
जो हाथीके समान मुखवाले हैं, भूतगणादिसे सदा सेवित रहते हैं, कैथ तथा जामुन फल जिनके लिये प्रिय भोज्य हैं, पार्वतीके पुत्र हैं तथा जो प्राणियोंके शोकका विनाश करनेवाले हैं, उन विघ्नेश्वरके चरणकमलों में नमस्कार करता हूं ॥ 2॥
मंत्र
एकदन्तं महाकायं लम्बोदरगजाननम्।
विघ्ननाशकरं देवं हेरम्बं प्रणमाम्यहम् ॥ 3 ॥
जो एक दांत से सुशोभित हैं, विशाल शरीरवाले हैं, लम्बोदर हैं, गजानन हैं तथा जो विघ्नोंके विनाशकर्ता हैं, मैं उन दिव्य भगवान् हेरम्बको प्रणाम करता हूं ॥ 3॥
रक्ष रक्ष गणाध्यक्ष रक्ष त्रैलोक्यरक्षक।
भक्तानामभयं कर्ता त्राता भव भवार्णवात् ॥ 4 ॥
हे गणाध्यक्ष ! [मेरी] रक्षा कीजिये, रक्षा कीजिये। हे तीनों लोकोंके रक्षक! रक्षा कीजिये; आप भक्तोंको अभय प्रदान करनेवाले हैं, भवसागरसे [मेरी] रक्षा कीजिये ॥ 4॥