रीट्स, इनविट्स और म्यूनिसिपल बॉन्ड्स में निवेश की नई संभावनाएं भी बताई

दी यंगिस्तान, नई दिल्ली।

सेबी प्रमुख माधवी पुरी बुच ने मीडिया से बातचीत के दौरान निवेशकों के लिए रियल एस्टेट इनवेस्टमेंट ट्रस्ट (REITs), इनविट्स और म्यूनिसिपल बॉन्ड्स में निवेश के उभरते अवसरों पर चर्चा की। 250 रुपये के एसआईपी से छोटे निवेशकों को भी लाभान्वित करने की पहल।

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) की अध्यक्ष माधवी पुरी बुच ने निवेशकों के लिए नए अवसरों की घोषणा की है। उन्होंने रियल एस्टेट इनवेस्टमेंट ट्रस्ट (REITs), इंफ्रास्ट्रक्चर इनवेस्टमेंट ट्रस्ट (InvITs) और म्यूनिसिपल बॉन्ड्स को संभावनाओं से भरपूर क्षेत्र बताया। साथ ही, छोटे निवेशकों को लक्षित करते हुए 250 रुपये के एसआईपी (सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) के जल्द शुरू होने की जानकारी दी।

1. रीट्स और इनविट्स में निवेश का महत्व

रीट्स और इनविट्स, जो कि क्रमशः रियल एस्टेट और इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स में निवेश के लिए प्लेटफ़ॉर्म प्रदान करते हैं, निवेशकों के लिए एक आकर्षक विकल्प बनते जा रहे हैं। सेबी प्रमुख ने जोर दिया कि यह उपकरण न केवल स्थिर रिटर्न देते हैं बल्कि इन्हें पारदर्शिता और नियामकीय सुरक्षा भी प्राप्त है।

आंकड़ों का बॉक्स:

रीट्स/इनविट्सलाभ
रीट्सरियल एस्टेट में हिस्सेदारी
इनविट्सइंफ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं में निवेश

सेबी ने निवेशकों को इन विकल्पों की ओर आकर्षित करने के लिए नियमों को सरल और प्रक्रियाओं को तेज़ बनाने का आश्वासन दिया।

2. म्यूनिसिपल बॉन्ड्स: शहरी विकास के लिए फंडिंग

म्यूनिसिपल बॉन्ड्स, जो नगर निगमों द्वारा शहरी विकास के लिए जारी किए जाते हैं, वित्तीय क्षेत्र में एक नया आयाम प्रस्तुत कर रहे हैं। बुच ने कहा कि म्यूनिसिपल बॉन्ड्स न केवल निवेशकों के लिए सुरक्षित विकल्प हैं, बल्कि शहरों के इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास में भी सहायक हैं।

म्यूनिसिपल बॉन्ड्स के फायदे:

  • निवेश पर स्थिर रिटर्न
  • शहरी इन्फ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं में योगदान
  • सुरक्षित और पारदर्शी निवेश विकल्प

3. 250 रुपये के एसआईपी: छोटे निवेशकों के लिए बड़ी पहल

माधवी पुरी बुच ने छोटे निवेशकों के लिए 250 रुपये के एसआईपी प्लान के बहुत जल्द शुरू होने की बात कही। उन्होंने कहा कि यह योजना विशेष रूप से मध्यम और निम्न आय वर्ग के निवेशकों को ध्यान में रखकर बनाई जा रही है।

एसआईपी के प्रमुख लाभ:

  • छोटे निवेशकों को बड़े निवेश प्लेटफ़ॉर्म तक पहुंच
  • अनुशासित बचत और निवेश
  • दीर्घकालिक धन सृजन का अवसर

सेबी का उद्देश्य है कि यह योजना छोटे निवेशकों को अधिकाधिक निवेश की ओर प्रेरित करे और वित्तीय समावेशन में योगदान दे।

4. 2025 तक 14.27 लाख करोड़ रुपये के लक्ष्य का विजन

सेबी ने 2025 तक भारतीय कैपिटल मार्केट को 14.27 लाख करोड़ रुपये तक ले जाने का लक्ष्य रखा है। यह विजन न केवल आर्थिक विकास को गति देगा बल्कि अधिक निवेशकों को आकर्षित करेगा।

फोकस क्षेत्र:

  • वित्तीय साक्षरता बढ़ाना
  • छोटे और मध्यम वर्ग के निवेशकों के लिए नए विकल्प
  • पारदर्शिता और सुरक्षा को प्राथमिकता देना

निष्कर्ष:

रीट्स, इनविट्स और म्यूनिसिपल बॉन्ड्स भारतीय वित्तीय क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव ला रहे हैं। सेबी द्वारा उठाए गए कदम न केवल बड़े निवेशकों को बल्कि छोटे निवेशकों को भी सशक्त बनाने का वादा करते हैं। 250 रुपये के एसआईपी की पहल छोटे निवेशकों को वित्तीय मुख्यधारा में लाने का एक सराहनीय प्रयास है।

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